बर्मिंघम, अमृतसर की फूड स्ट्रीट को आदर्श मान सराफा, 56 दुकान में हो रहे बदलाव की ये एक्सक्लूसिव जानकारी पहली बार

इंदौर | 56 दुकान का कायाकल्प निगम ने 53 दिन में पूरा कर दिया। यहां नो-पार्किंग से लेकर एक जैसी दुकानों का काॅन्सेप्ट यूके के बर्मिंघम से लिया गया। इंदौर के निगमायुक्त और स्मार्ट सिटी कंपनी के सीईओ पिछले साल बर्मिंघम गए थे। तब ही इंदौर के किसी मार्केट को ऐसे ही डेवलप करने की प्लानिंग हुई थी। 


खर्च : 5.25 करोड़ रुपए की होगी वसूली
निगम ने 56 दुकान पर सवा पांच करोड़ खर्च किए हैं। निगम की योजना है व्यापारियों से बैटरमेंट वसूलेगा। हालांकि अभी यह तय नहीं है कि टैक्स कितना हाेगा। 
पार्किंग : चार जगह मैकेनाइज्ड बनेंगी
निगम 56 के फुटओवर ब्रिज के पास, टाइटन के शोरूम के सामने, 56 से जंजीरावाला चौराहे के बीच मंदिर के किनारे और विवेकानंद स्कूल के ग्राउंड में मैकेनाइज्ड पार्किंग बनाएगा। एक पार्किंग पास के गार्डन में सामुदायिक भवन के नीचे होगी। कुल 220 चार पहिया और 300 से ज्यादा दो पहिया वाहनों की व्यवस्था होगी।  
सुविधा : बुजुर्गों के लिए चलेंगे ई-रिक्शा 
मैकेनाइज्ड पार्किंग तैयार होने तक लोग 56 के पास के ग्राउंड, विवेकानंद स्कूल के ग्राउंड और बगीचे से जंजीरावाला चौराहे के बीच की रोड पर ऑन स्ट्रीट गाड़ियां खड़ी कर सकेंगे। पास के मैदान और विवेकानंद स्कूल की पार्किंग में अस्थायी व्यवस्था की है। बुजुर्गों के लिए वहां से 56 तक आने के लिए ई-रिक्शा रहेंगे।
मनोरंजन : खुद का एफएम रेडियो होगा
56 दुकान क्षेत्र के व्यापारियों का खुद का एफएम रेडिया होगा। यहां दिनभर ग्राहकों के मनाेरंजन के लिए गाने वगैरह चलते रहेंगे। 
मेंटेनेंस : विज्ञापन से मिलेंगे 15 लाख
निगम यहां विज्ञापनों के लिए एलईडी स्क्रीन लगाएगा। इनमें दिखने वाले विज्ञापनों से हर महीने 15 लाख रुपए की आय होगी। इन रुपयों को इसी क्षेत्र के मेंटेनेंस व अन्य विकास कार्यों पर खर्च किया जाएगा।
 लाइट एंड साउंड शो : हर शाम होगा
यहां शाम को 15 से 20 मिनट का लाइट एंड साउंड शो भी होगा। स्मार्ट ऑटोमेशन सिस्टम के तहत विशेष तरह की पिक्सी ट्यूब वाली लाइट लगेंगी। सराफा का स्वरूप भी बदला जाएगा। राजबाड़ा, इमामबाड़ा, विजय चाट, सराफा, छोटा सराफा, थाने और फिर बजाजखाना की पार्किंग तक इस बाजार को यहां मौजूद रोड की चौड़ाई नौ मीटर है, जिसे 12 मीटर किया जाएगा। इसके लिए सारे ओटले तोड़े जाएंगे। यूटिलिटी सहित सारी लाइनें, वायरिंग अंडरग्राउंड रहेंंगी। 


बदलाव : ओटलों पर नहीं लगेंगी दुकानें
अब तक सराफा में दिन में ज्लेवरी शॉप चलती हैं और रात में उन्हीं के ओटलों पर खाने-पीने की दुकानें लग जाती हैं। नए पैटर्न में ओटलों पर कोई दुकान नहीं लगेगी क्योंकि ओटले ही हट जाएंगे। सड़क चौड़ी होने के बाद वहां दुकानदारों को एक जैसे काउंटर दिए जाएंगे। 
 डिजाइन : सभी दुकानें एक जैसी होंगी
राजबाड़ा से सराफा और बजाजखाना चौक तक सड़क बनाने पर 15 करोड़ खर्च होंगे। यहां की दुकानों की बाहरी डिजाइन एक जैसी बनाने के लिए करीब 24 करोड़ रुपए खर्च होना हैं। प्लानिंग है कि यह खर्च व्यापारियों से ही लिया जाएगा। यह राशि दिल्ली के रेट के हिसाब से है। यह कम या ज्यादा हो सकती है। इस राजबाड़ा के सामने अन्ना भैया की दुकान सहित अन्य दुकानों की बाहरी डिजाइन भी बदली जाएगी।
 खर्च : दुकानदारों से लेंगे बैटरमेंट टैक्स
सड़क बनाने में भी कंपनी बैटरमेंट टैक्स के नाम पर दुकानदारों से ही राशि लेगी।  स्मार्ट सिटी कंपनी के सीईओ संदीप सोनी ने बताया कि सराफा का पूरा मॉडल बोर्ड बैठक में तय हुआ है। इसके लिए पहले शहर के आर्किटेक्ट, दुकानदारों और अधिकारियों की कमेटी बनेगी। इसमें तय होगा कि कितना खर्चा होना है? दुकानदार या निगम इसे आपस में कैसे बांटेंगे? इसका पूरा खाका तैयार कर एक महीने बाद बोर्ड में रखा जाएगा। तब टेंडर जारी होने के साथ अगली प्रक्रिया होगा।
 आपत्ति : नो व्हीकल जोन न बनाएं 
सराफा के विकास का मॉडल सोमवार को निगमायुक्त आशीष सिंह और स्मार्ट सिटी कंपनी के सीईओ संदीप सोनी ने वहां के व्यापारियों को बताया। व्यापारियों ने कहा कि सराफा काे नो-व्हीकल जोन बनाने के बजाय ग्राहकों को दुकान तक वाहन लाने की छूट दी जाए। बदलाव करने के लिए अधिकारी बाजार में आकर बात करें। अधिकारियों ने विचार करने की बात कही।


बर्मिंघम रेग मार्केट


वहां स्ट्रीट फूड जोन नो-व्हीकल होते हैं। लोगों को दूसरी जगह गाड़ियां खड़ी कर पैदल वहां पड़ता है। दुकानों के एलिवेशन और बाहरी डिजाइन एक जैसी होती है।


अमृतसर हेरिटेज वॉक


यहां के हेरिटेज वॉक एरिया में सभी दुकानों की डिजाइन एक जैसी हैं। यहां लोग वाहन नहीं ला सकते। यहां भी नो व्हीकल जोन होते हैं।